पुष्प कमल दहल प्रचंड ने सोमवार को नेपाल के नए प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली है। हालांकि इससे पहले शेर बहादुर देउबा का नाम पीएम की रेस में आगे चल रहा था, लेकिन नेपाल की राजनीति ने अचानक से करवट बदली और पुष्प कमल दहल प्रचंड फिर से नेपाल के प्रधानमंत्री बन गए।
नेपाल की राजनीति को नाटकीय अंदाज के तौर पर देखा जा रहा है। चुनाव के बाद शेर बहादुर देउबा की नेपाली कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी। इसके बाद उनका प्रधानमंत्री बनना तय माना जा रहा था। इसके बाद देउबा ने कई बार राष्ट्रपति से की। ऐसे में माना जा रहा था कि वे जल्द ही पीएम के लिए अपनी दावेदारी पेश करेंगे।
इसके बाद देउबा ने पुष्प कमल प्रचंड के साथ एक मीटिंग तय की थी, लेकिन अखिरी वक्त में पुष्प कमल प्रचंड मीटिंग से नाराज होकर बाहर निकल गए और गठबंधन से बाहर होने का फैसला किया। उसके बाद नेपाल की राजनीति पूरी तरह से बदल गई।
इसके बाद पुष्प कमल दहल प्रचंड ने केपी शर्मा ओली के साथ मुलाकात की और उनकी पार्टी का समर्थन मांगा। इसके बाद प्रचंड ने राष्ट्रपति से मुलाकात कर सरकार बनाने का दावा पेश किया। बताया जा रहा है कि आधे कार्यकाल के लिए प्रचंड पीएम रहेंगे। जबकि बाद में केपी ओली को पीएम की कुर्सी सौंप दी जाएगी। First Updated : Monday, 26 December 2022